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16 दिसम्बर 2023 से 31 जनवरी, 2024 तक डेढ़ माह का दिया जायेगा मौनपालन प्रशिक्षण


प्रशिक्षण लेने हेतु संयुक्त निदेशक, औद्यानिक प्रयोग एवं प्रशिक्षण केन्द्र, सहारनपुर व बस्ती एवं अधीक्षक, राजकीय उद्यान, प्रयागराज से करें सम्पर्क

कृषक व मौनपालक प्रशिक्षण प्राप्त कर बन रहे आत्मनिर्भर-दिनेश प्रताप सिंह
संवाददाता
लखनऊ:14 दिसम्बर
प्रदेश के उद्यान, कृषि विपणन, कृषि विदेश व्यापार एवं कृषि निर्यात राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री दिनेश प्रताप सिंह ने बताया कि प्रदेश के कृषकों एवं मौनपालकों को मौनपालन के सम्बन्ध में तकनीकी एवं व्यवहारिक जानकारी प्रदेश के 04 जनपदों सहारनपुर, बस्ती, प्रयागराज व मुरादाबाद के मौनपालन प्रशिक्षण केन्द्रों में दी जाती हैं। इन केन्द्रों पर वर्ष में एक दीर्घकालीन एवं तीन अल्पकालीन प्रशिक्षण सत्रों का आयोजन कर कृषकों/मौनपालकों को प्रशिक्षित किया जाता है। कृषक व मौनपालक प्रशिक्षण प्राप्त कर आत्मनिर्भर बन रह हैं। यह प्रशिक्षण उद्यान विभाग द्वारा निःशुल्क प्रदान किया जाता है। प्रशिक्षण सत्र की समाप्ति पर विभाग के विषय विशेषज्ञों की उपस्थिति में प्रशिक्षणार्थियों का सैद्धान्तिक व व्यवहारिक परीक्षा आयोजित करायी जाती है। परीक्षा में उत्तीर्ण अर्थात 60 प्रतिशत् अथवा उससे अधिक अंक पाने वाले प्रशिणार्थियों को प्रशिक्षण प्राप्त किये जाने का प्रमाण-पत्र भी निर्गत किया जाता है।

श्री सिंह ने बताया कि उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण विभाग द्वारा मधुमक्खी पालन को प्रोत्साहित/बढ़ावा देने के उद्देश्य से वैज्ञानिक ढंग से मौनपालन किये जाने हेतु औद्यानिक प्रयोग एवं प्रशिक्षण केन्द्र सहारनपुर व बस्ती एवं अधीक्षक राजकीय उद्यान प्रयागराज में 16 दिसम्बर, 2023 से 31 जनवरी, 2024 तक डेढ़ माह (45 दिवसीय) अल्पकालीन प्रशिक्षण सत्र का आरम्भ हो रहा है।

उद्यान निदेशक डॉ0 अतुल कुमार सिंह ने बताया कि प्रशिक्षण सत्र में पुरूष एवं महिलायें सभी वर्ग के अभ्यर्थी प्रतिभाग कर सकते है, इसके लिए न्यूनतम शैक्षिक योग्यता कक्षा आठ उत्तीर्ण होना आवश्यक है। मधुमक्खी पालन प्रशिक्षण में भाग लेने वाले इच्छुक व्यक्तियों को अपने निकटतम सुविधा अनुसार संयुक्त निदेशक औद्यानिक प्रयोग एवं प्रशिक्षण केन्द्र सहारनपुर व बस्ती एवं अधीक्षक राजकीय उद्यान, प्रयागराज से सम्पर्क कर निर्धारित प्रारूप पर 16 दिसम्बर 2023 तक आवेदन कर मधुमक्खी पालन प्रशिक्षण प्राप्त कर सकते है। आवेदन-पत्र के साथ दो सभ्रांत व्यक्तियों या राजपत्रित अधिकारी द्वारा प्रदत्त चरित्र प्रमाण-पत्र आवश्यक है।

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